Thursday 20 September 2012

sahifa-e-kamila--sajjadia-58th-dua--urdu-tarjuma-in-hindi--by-imam-zainul-abedin-a.s



अट्ठावनवीं दुआ
हज़रत (अ0) की दुआ जो ज़िक्रे आले मोहम्मद (सल्लल्लाहो अलैह व आलेही वसल्लम) पर मुश्तमिल है


ऐ अल्लाह! ऐ वह जिसने मोहम्मद (स0) और उनकी आल (अ0) को इज़्ज़त व बुज़ुर्गी के साथ मख़सूस किया और जिन्हें मन्सबे रिसालत अता किया और वसीला बनाकर इम्तियाज़े ख़ास बख़्शा। जिन्हें अम्बिया का वारिस क़रार दिया और जिनके ज़रिये औसिया और आइम्मा का सिलसिला ख़त्म किया। जिन्हें गुज़िश्ता व आइन्दा का इल्म सिखया और लोगों के दिलों को जिनकी तरफ़ माएल किया। बारे इलाहा! मोहम्मद (स0) और उनकी पाक व पाकीज़ा आल (अ0) पर रहमत नाज़िल फ़रमा और हमारे साथ दीन, दुनिया और आख़ेरत में वह बरताव कर जिसका तू सज़ावार है। यक़ीनन तू हर चीज़ पर क़ादिर है।

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